Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 Jan 2022 · 1 min read

नववर्ष।

नववर्ष।

नववर्ष मंगलमय होयत
धनी आ पढल लिखल के।

नववर्ष मंगलमय होयत
कहिया गरीब आ अनपढ के।

नववर्ष मंगलमय होयत
कहिया कबाड़ चूने वाला के।

नववर्ष मंगलमय होयत
नेता, अफसर आ दलाल के।

नववर्ष मंगलमय होयत
कहिया किसान आ मजदूर के।

नववर्ष मंगलमय होयत।
मांस मदिरा पिये वाला के।

नववर्ष मंगलमय होयत
कहिया मूस खाये वाला के।

नववर्ष मंगलमय होयत
रामा जहिया जगायब अपना मन के।

स्वरचित © सर्वाधिकार रचनाकाराधीन

रचनाकार-आचार्य रामानंद मंडल सामाजिक चिंतक सीतामढ़ी।

Language: Maithili
1 Like · 286 Views

You may also like these posts

तुम क्या जानो किस दौर से गुज़र रहा हूँ - डी. के. निवातिया
तुम क्या जानो किस दौर से गुज़र रहा हूँ - डी. के. निवातिया
डी. के. निवातिया
जीवन में कितना ही धन -धन कर ले मनवा किंतु शौक़ पत्रिका में न
जीवन में कितना ही धन -धन कर ले मनवा किंतु शौक़ पत्रिका में न
Neelam Sharma
" परवरिश "
Dr. Kishan tandon kranti
आनंद नंद के घर छाये।
आनंद नंद के घर छाये।
श्रीकृष्ण शुक्ल
विभूता
विभूता
Shekhar Deshmukh
मुस्तक़िल जीना यहाँ किसको मयस्सर है भला
मुस्तक़िल जीना यहाँ किसको मयस्सर है भला
Monika Arora
बात के हो जादूगर इस अदा से उल्फत है ।
बात के हो जादूगर इस अदा से उल्फत है ।
Jyoti Shrivastava(ज्योटी श्रीवास्तव)
Bye December
Bye December
Deepali Kalra
सच है, कठिनाइयां जब भी आती है,
सच है, कठिनाइयां जब भी आती है,
पूर्वार्थ
वो जरूर आएगी
वो जरूर आएगी
अनिल कुमार निश्छल
परिश्रम
परिश्रम
ओंकार मिश्र
उजाले
उजाले
Karuna Bhalla
गीत- अँधेरों को हरा रोशन...
गीत- अँधेरों को हरा रोशन...
आर.एस. 'प्रीतम'
🙅एकहि साधे सब सधे🙅
🙅एकहि साधे सब सधे🙅
*प्रणय*
चप्पलें
चप्पलें
Kanchan Khanna
-शेखर सिंह
-शेखर सिंह
शेखर सिंह
*सर्दी की धूप*
*सर्दी की धूप*
Dr. Priya Gupta
पिता
पिता
विजय कुमार अग्रवाल
धरती के आगे
धरती के आगे
Chitra Bisht
उसकी सुनाई हर कविता
उसकी सुनाई हर कविता
हिमांशु Kulshrestha
ॐ
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
रे ! मेरे मन-मीत !!
रे ! मेरे मन-मीत !!
Ramswaroop Dinkar
जय श्री राम
जय श्री राम
goutam shaw
चांद कहानी
चांद कहानी
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
ये उम्र के निशाँ नहीं दर्द की लकीरें हैं
ये उम्र के निशाँ नहीं दर्द की लकीरें हैं
Atul "Krishn"
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
😟 काश ! इन पंक्तियों में आवाज़ होती 😟
😟 काश ! इन पंक्तियों में आवाज़ होती 😟
Shivkumar barman
बाबा तेरा इस कदर उठाना ...
बाबा तेरा इस कदर उठाना ...
Sunil Suman
"" *एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य* "" ( *वसुधैव कुटुंबकम्* )
सुनीलानंद महंत
डर
डर
Neeraj Agarwal
Loading...