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11 Jun 2023 · 1 min read

दुश्मन भी याद करते हैं और दोस्त भी

दुश्मन भी याद करते हैं और दोस्त भी

दोनों की मुहब्बत में मसले का फर्क है

कोई इसतरह खफा हैं कि कुछ भी नहीं कहता ,

कोई इसतरह फिदा हैं कि कुछ भी नहीं कहता।

एक मंजिल पे पहुँच के क्या बैठा जाये ।

सफर का लुत्फ कहता है आगे चला जाये ।

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