Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
31 Jul 2021 · 1 min read

दर्द

दर्द को दर्द ही रहने दो,
मरहम लगाने की कोशिश ना करो ,

शुक्रिया अदा तो उनका है जो घावों को कुरेद देते हैं,
जिससे दर्द तो महसूस होता है!

उमेंद्र कुमार

Language: Hindi
Tag: लेख
2 Likes · 2 Comments · 227 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
*।। मित्रता और सुदामा की दरिद्रता।।*
*।। मित्रता और सुदामा की दरिद्रता।।*
Radhakishan R. Mundhra
हम ख़्वाब की तरह
हम ख़्वाब की तरह
Dr fauzia Naseem shad
कविता तुम क्या हो?
कविता तुम क्या हो?
निरंजन कुमार तिलक 'अंकुर'
समय आया है पितृपक्ष का, पुण्य स्मरण कर लें।
समय आया है पितृपक्ष का, पुण्य स्मरण कर लें।
surenderpal vaidya
कौन है जिम्मेदार?
कौन है जिम्मेदार?
Pratibha Pandey
दिलरुबा जे रहे
दिलरुबा जे रहे
Shekhar Chandra Mitra
🌹🌹🌹फितरत 🌹🌹🌹
🌹🌹🌹फितरत 🌹🌹🌹
umesh mehra
दु:ख का रोना मत रोना कभी किसी के सामने क्योंकि लोग अफसोस नही
दु:ख का रोना मत रोना कभी किसी के सामने क्योंकि लोग अफसोस नही
Ranjeet kumar patre
यक्ष प्रश्न है जीव के,
यक्ष प्रश्न है जीव के,
sushil sarna
Dr Arun Kumar shastri
Dr Arun Kumar shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
घणो ललचावे मन थारो,मारी तितरड़ी(हाड़ौती भाषा)/राजस्थानी)
घणो ललचावे मन थारो,मारी तितरड़ी(हाड़ौती भाषा)/राजस्थानी)
gurudeenverma198
जब स्वयं के तन पर घाव ना हो, दर्द समझ नहीं आएगा।
जब स्वयं के तन पर घाव ना हो, दर्द समझ नहीं आएगा।
Manisha Manjari
बाल नृत्य नाटिका : कृष्ण और राधा
बाल नृत्य नाटिका : कृष्ण और राधा
Dr.Pratibha Prakash
आखिरी दिन होगा वो
आखिरी दिन होगा वो
shabina. Naaz
दुनिया से सीखा
दुनिया से सीखा
Surinder blackpen
सफल
सफल
Paras Nath Jha
सावन‌....…......हर हर भोले का मन भावन
सावन‌....…......हर हर भोले का मन भावन
Neeraj Agarwal
बेईमानी का फल
बेईमानी का फल
Mangilal 713
#तन्ज़िया_शेर...
#तन्ज़िया_शेर...
*Author प्रणय प्रभात*
शिवाजी गुरु समर्थ रामदास – बाल्यकाल और नया पड़ाव – 02
शिवाजी गुरु समर्थ रामदास – बाल्यकाल और नया पड़ाव – 02
Sadhavi Sonarkar
ऐसी प्रीत कहीं ना पाई
ऐसी प्रीत कहीं ना पाई
Harminder Kaur
उम्मीदों के आसमान पे बैठे हुए थे जब,
उम्मीदों के आसमान पे बैठे हुए थे जब,
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
*नए दौर में पत्नी बोली, बनें फ्लैट सुखधाम【हिंदी गजल/ गीतिका】
*नए दौर में पत्नी बोली, बनें फ्लैट सुखधाम【हिंदी गजल/ गीतिका】
Ravi Prakash
रंगों का कोई धर्म नहीं होता होली हमें यही सिखाती है ..
रंगों का कोई धर्म नहीं होता होली हमें यही सिखाती है ..
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
दीवाने प्यार के हम तुम _ छोड़े है दुनियां के भी  गम।
दीवाने प्यार के हम तुम _ छोड़े है दुनियां के भी गम।
Rajesh vyas
मेरी औकात के बाहर हैं सब
मेरी औकात के बाहर हैं सब
सिद्धार्थ गोरखपुरी
आज मंगलवार, 05 दिसम्बर 2023  मार्गशीर्ष कृष्णपक्ष की अष्टमी
आज मंगलवार, 05 दिसम्बर 2023 मार्गशीर्ष कृष्णपक्ष की अष्टमी
Shashi kala vyas
दुःख, दर्द, द्वन्द्व, अपमान, अश्रु
दुःख, दर्द, द्वन्द्व, अपमान, अश्रु
Shweta Soni
"धरती गोल है"
Dr. Kishan tandon kranti
Loading...