तू बेमिसाल है
कितना बचा बचा के रखा
इसको
मगर आखिर कार
टूट ही गया
हमारा शीशे जेसा दिल
बेचारा
मुहब्बत का मारा
क्या कोई समझ सकता इसको
ये केसे सब सह लेता है
जब जब कोई मुश्किल हो
ये तो खुद उनको सुलझाता है
पर ये तो खुद भी नाजुक है
कितना काम है इसका
सारे खून को जिस्म में फैलाता है
और अगर थक जाए तो डूब जाता है
अगर कोई बात चुभ जाए
तो बस चूर चूर हो जाता है
आह दिल मुझे
तेरा ही खयाल है
तू बेमिसाल है