जीवन साथी
गज़ल- (आदरणीया वंदना जी को समर्पित)
काफ़िया- ए
रदी़फ- जीवन साथी
फ़ाईलातुन फ़ाईलातुन फ़ाईलातुन फ़ाईलातुन
2222……….2222………2222……..2222
जीवन की मधुरिम बेला में, बनकर आये जीवन साथी!
तपती गर्मी में छाया के, बादल लाये जीवन साथी!
एकाकी जीवन था मेरा, तुमने उसको गुलजार किया,
तुम जीवन में जैसे मधुबन, बनकर छाए जीवन साथी!
तुमने ही फूल खिलाए है, मेरे सूने घर आंगन में ,
तुम घर आंगन की शोभा बन, सबको भाए जीवन साथी!
तुमसे ही अपनी खुशियाँ हैं, तुमसे ही चहुॅंदिश खुशियाली!
होली दीवाली की रौनक, बन आए जीवन साथी!
अब हमको ना कुछ पाना है, तुमको पाकर इस जीवन में,
इक जनम नहीं सौ जनम रहें, तेरे साये जीवन साथी!
हम सब पूजा करते आये, जबसे ईश्वर को जाना है,
प्रेमी बन तुमको पूजा है, जबसे पाये जीवन साथी!
…….. ✍ सत्य कुमार प्रेमी