Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
13 Jun 2021 · 1 min read

जीवन समर !

जीवन समर !
“””””””””””””””

बहुत डर लगता है मुझे !
इतना पता था किसे ?
कि महामारी आ जाएगी !
दुनिया ये उजड़ जाएगी !!

स्थिति बहुत ही विकराल है !
पर डरने की नहीं बात है !
बस, कुछ ही दिनों की तो बात है !
फिर ये वापस चली जाएगी !
फिर से दुनिया नई बस जाएगी !!

बस, थोड़ा संभल – संभलकर !
धैर्य व हिम्मत से मुकाबला कर !
सारे नियमों का पालन कर !
औरों की भी सहायता कर !
दम लेंगे हम इसे भगाकर !
अटूट एकता का परिचय देकर !!

अपने सब्र को बाॅंध के रख !
वैक्सीन से बचाव अपनी कर !
सरकार से भी सहयोग किया कर !
अनावश्यक नहीं इसे कोसा कर !!

ये है बहुत ही विकट परिस्थिति !
किसी एक के वश की बात नहीं !
सरकार अपना काम है कर रही !
आप ना करें कभी कोई लापरवाही !
खुद भी लेनी होगी कुछ जवाबदेही !!

अति सावधानी बरतें पर डरें नहीं !
बिना सोचे-समझे कुछ करें नहीं !
डाॅक्टरी सलाह लें संशय जो हो कोई !
इलाज़ में कोई कोताही करें नहीं !!

कोई जीवन जीता है तो कोई डराता ही है !
पर क्या ज्ञानी मानव कभी इससे घबराता है ?
कोई राह चलता है तो बाधाऍं उसे रोकती ही हैं !
पर क्या असली पथिक विचलित हो रुक जाता है??

पेड़ों में पुराने पत्ते झड़ते हैं, कितने नए लग जाते हैं !
जीवन समर में न जाने कितनी कहानियाॅं बन जाते हैं !
जीवन कोई खेल नहीं, बड़े खिलाड़ी यहाॅं पिट जाते हैं !
विनती करता अजित, चल नए सिरे से बगिया सजाते हैं !!

_ स्वरचित एवं मौलिक ।

© अजित कुमार कर्ण ।
__ किशनगंज ( बिहार )
“”””””””””””””””””””””””””””
????????

Language: Hindi
8 Likes · 2 Comments · 766 Views

You may also like these posts

कह मुकरियां
कह मुकरियां
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
- तुम बिन यह जिंदगी बेरंग हो गई है -
- तुम बिन यह जिंदगी बेरंग हो गई है -
bharat gehlot
*चार भाई*
*चार भाई*
Dushyant Kumar
"अपना"
Yogendra Chaturwedi
पुस्तक
पुस्तक
Rajesh Kumar Kaurav
जिस डाली पर बैठो हो,काट न बंधु डाल रे
जिस डाली पर बैठो हो,काट न बंधु डाल रे
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
बात का क्या है
बात का क्या है
Vivek Pandey
ग़ज़ल _ सरकार आ गए हैं , सरकार आ गए हैं ,
ग़ज़ल _ सरकार आ गए हैं , सरकार आ गए हैं ,
Neelofar Khan
गले लोकतंत्र के नंगे
गले लोकतंत्र के नंगे
Dr MusafiR BaithA
तीर'गी  तू  बता  रौशनी  कौन है ।
तीर'गी तू बता रौशनी कौन है ।
Neelam Sharma
यमराज की नसीहत
यमराज की नसीहत
Sudhir srivastava
खोजने लगी वो सुख का खज़ाना,
खोजने लगी वो सुख का खज़ाना,
Ajit Kumar "Karn"
अद्य हिन्दी को भला एक याम का ही मानकर क्यों?
अद्य हिन्दी को भला एक याम का ही मानकर क्यों?
संजीव शुक्ल 'सचिन'
आखिर तेरे इस हाल का, असल कौन जिम्मेदार है…
आखिर तेरे इस हाल का, असल कौन जिम्मेदार है…
Anand Kumar
नीर सा मन
नीर सा मन
Manoj Shrivastava
दुनिया की बुनियाद
दुनिया की बुनियाद
RAMESH SHARMA
मेरे अशआर
मेरे अशआर
Dr fauzia Naseem shad
"पायल"
Dr. Kishan tandon kranti
God's Grace
God's Grace
Poonam Sharma
अन्हारे अन्हार,देसे देस
अन्हारे अन्हार,देसे देस
श्रीहर्ष आचार्य
"योमे-जश्ने-आज़ादी" 2024
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
नकाब पोश
नकाब पोश
ओनिका सेतिया 'अनु '
कोई किसी के लिए जरुरी नहीं होता मुर्शद ,
कोई किसी के लिए जरुरी नहीं होता मुर्शद ,
शेखर सिंह
मैं तन्हाई में, ऐसा करता हूँ
मैं तन्हाई में, ऐसा करता हूँ
gurudeenverma198
Finding the Right Help with College Homework
Finding the Right Help with College Homework
Myassignmenthelp
“लिखने से कतराने लगा हूँ”
“लिखने से कतराने लगा हूँ”
DrLakshman Jha Parimal
बे
बे
*प्रणय*
साहिल के समंदर दरिया मौज,
साहिल के समंदर दरिया मौज,
Sahil Ahmad
ये इंसानी फ़ितरत है जनाब !
ये इंसानी फ़ितरत है जनाब !
पूर्वार्थ
बरसात और तुम
बरसात और तुम
Sidhant Sharma
Loading...