जीवन की सबसे बड़ी त्रासदी
जीवन की सबसे बड़ी त्रासदी
मैं उस क्षण को मानती हूँ,
जब हमसे कुछ खोने लगता है,
हमारे आँखों के सामने ही ओझल होने लगता है ,
जिसे हम चाह कर भी अपने हाथों से पकड़ नही पाते,
अपनी मुट्ठियों में जकड़ नही पाते।।
Ruby
जीवन की सबसे बड़ी त्रासदी
मैं उस क्षण को मानती हूँ,
जब हमसे कुछ खोने लगता है,
हमारे आँखों के सामने ही ओझल होने लगता है ,
जिसे हम चाह कर भी अपने हाथों से पकड़ नही पाते,
अपनी मुट्ठियों में जकड़ नही पाते।।
Ruby