Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
6 Aug 2021 · 1 min read

जीत नहीं तो क्या हुआ, जीत से बढ़कर ये हार है…

हारीं तुम नहीं चन्द्रिके,
हारा वो हर शख्श है,
जिसने सदा तुम्हें टोका
बढ़ते कदमों को पीछे मोड़ा,
प्रगति पथ पर बन कर रोड़ा।

जमाना औरों के लिए सुखदायी था,
पर तुम्हारे लिए ये सदा खराब रहा,
हल्की सी हंसी भी, तीर ज्यों चुभी
सांस भी सोच समझकर लिया,क्योंकि,
भले घर का मेडल, तुम्हारे ही नाम रहा।

वक्त न कभी बुरा था, न कभी होगा,
वक्त को पार, सदा वक्त ने ही किया है,
कमी तुम में न थी, न कभी होगी
कमी सोच में थी, जो पहचान गए,
तभी तो आज दिल से सलाम किया है।

आसान नहीं, गिरि शिखर को पाना,
सहज नही, समुंद्र को पार जाना,
ये देश तुम्हारे आंसुओं से स्तब्ध है,
सौ दरवाजे पार कर, मिला ‘नवीन’ ये उपहार है,
जीत नहीं तो क्या हुआ, जीत से बढ़कर ये हार है।

– सुशील कुमार ‘नवीन’

Language: Hindi
3 Likes · 1 Comment · 476 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
ईश्वर के प्रतिरूप
ईश्वर के प्रतिरूप
Dr. Pradeep Kumar Sharma
Mere papa
Mere papa
Aisha Mohan
#सुप्रभात
#सुप्रभात
*Author प्रणय प्रभात*
धुँधलाती इक साँझ को, उड़ा परिन्दा ,हाय !
धुँधलाती इक साँझ को, उड़ा परिन्दा ,हाय !
Pakhi Jain
बसंत पंचमी
बसंत पंचमी
Neeraj Agarwal
जय जय नंदलाल की ..जय जय लड्डू गोपाल की
जय जय नंदलाल की ..जय जय लड्डू गोपाल की"
Harminder Kaur
अंदाज़े बयाँ
अंदाज़े बयाँ
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
प्रकृति सुर और संगीत
प्रकृति सुर और संगीत
Ritu Asooja
Ye ayina tumhari khubsoorti nhi niharta,
Ye ayina tumhari khubsoorti nhi niharta,
Sakshi Tripathi
नारी
नारी
विनोद वर्मा ‘दुर्गेश’
प्रदीप : श्री दिवाकर राही  का हिंदी साप्ताहिक (26-1-1955 से
प्रदीप : श्री दिवाकर राही का हिंदी साप्ताहिक (26-1-1955 से
Ravi Prakash
Deepak Kumar Srivastava
Deepak Kumar Srivastava "Neel Padam"
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
मुझे पढ़ने का शौक आज भी है जनाब,,
मुझे पढ़ने का शौक आज भी है जनाब,,
Seema gupta,Alwar
माँ का घर
माँ का घर
Pratibha Pandey
Beginning of the end
Beginning of the end
Bidyadhar Mantry
औरत अपनी दामन का दाग मिटाते मिटाते ख़ुद मिट जाती है,
औरत अपनी दामन का दाग मिटाते मिटाते ख़ुद मिट जाती है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
💐प्रेम कौतुक-415💐
💐प्रेम कौतुक-415💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
मानवता दिल में नहीं रहेगा
मानवता दिल में नहीं रहेगा
Dr. Man Mohan Krishna
माँ का निश्छल प्यार
माँ का निश्छल प्यार
Soni Gupta
बदलने लगते है लोगो के हाव भाव जब।
बदलने लगते है लोगो के हाव भाव जब।
Rj Anand Prajapati
रोजी न रोटी, हैं जीने के लाले।
रोजी न रोटी, हैं जीने के लाले।
सत्य कुमार प्रेमी
एक आज़ाद परिंदा
एक आज़ाद परिंदा
Shekhar Chandra Mitra
ऐ जिंदगी
ऐ जिंदगी
Anil "Aadarsh"
जिस दिन अपने एक सिक्के पर भरोसा हो जायेगा, सच मानिए आपका जीव
जिस दिन अपने एक सिक्के पर भरोसा हो जायेगा, सच मानिए आपका जीव
Sanjay ' शून्य'
"प्यासा" "के गजल"
Vijay kumar Pandey
वाल्मिकी का अन्याय
वाल्मिकी का अन्याय
Manju Singh
सराब -ए -आप में खो गया हूं ,
सराब -ए -आप में खो गया हूं ,
Shyam Sundar Subramanian
"जिन्दगी"
Dr. Kishan tandon kranti
3235.*पूर्णिका*
3235.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
Life is a rain
Life is a rain
Ankita Patel
Loading...