जय हो मां नर्मदा
रखे न किसी को प्यासी
रेवा मातु अविनासी
बिनती करूँ मै सभी
ध्याईये मां नर्मदा ।
जगतारिणी है यही
दुखहारिणी भी यही
प्रेम से पुकारो सभी
आईये मां नर्मदा ।।
करता यही पुकार
मातु आके तेरे द्वार
भक्तों की बिगडी
बनाईये मां नर्मदा ।
कहता प्रमोद मोद
मुझको प्रदान कर।
कृपा दृष्टि फिर
बर्षाईये मां नर्मदा ।।
?प्रमोद रघुवंशी?
दिनांक:-19-3-2017