जन्म दिन की बधाई
आज बड़ी ही शुभ दिन आई,
वरष एक दिन के बाद तेरी जन्म दिन आई।
मिले तुझे सबसे खुब बधाई,
हमसब को मिले भरपेट मीठाई।
“विप्रम् मधुरं रोच्यते”‘कहा संत बुझाई,
मधुर वितरण में न कर तू कटाई।
आव-भगत में न है कोई इनकी परछाई,
है “मिथिला” का संस्कार अद्भुत भाई ।
होकर प्रसन्न गाऊँ तेरी बड़ाई,
भले ही लुट जाए तेरी छुपी कमाई।
उमा झा