Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Sep 2018 · 1 min read

“गुप्त रत्न”नहीं मिटेगी मृगतृष्णा कस्तूरी मन के अन्दर है,

“गुप्त रत्न”नहीं मिटेगी मृगतृष्णा कस्तूरी मन के अन्दर है,
“गुप्त रत्न”नहीं मिटेगी मृगतृष्णा कस्तूरी मन के अन्दर है,

नहीं मिटेगी मृगतृष्णा,कस्तूरी मन के अन्दर है,
सागर सागर भटकूँ मैं,प्यास बुझायें वो दरिया मेरे अन्दर है //

शांत कहाँ ह्रदय मेरा,उथल-पुथल मची हुयी है ,
झांककर देखा,तुफानो से घिरा समन्दर है //

नहीं मिटेगी मृगतृष्णा कस्तूरी मन के अन्दर है,
शांत कहाँ ह्रदय है मेरा ,तुफानो से घिरा समन्दर है //

बिखरी चांदनी सारे रिश्तों की,मेरे आँगन,
मन भागे चाँद की पीछे,जो की दूर बसा कही अम्बर है //

शांत कहाँ है ह्रदय मेरा,तुफानो से घिरा समन्दर है ……………………………

जो दिया तूने प्रसन्न चित्त्त स्वीकारा “रत्न” ने
चाहे फूल पलाश थे,या धरती ये बंज़र है //

मन व्याकुल सोचे,जीवन बीते इस हार जीत मैं,
जग जीता जिसने आधा,क्या वो आज सिकन्दर है //

नहीं मिटेगी मृगतृष्णा,कस्तूरी मन के अन्दर है
शांत कहाँ है ह्रदय मेरा,तुफानो से घिरा समन्दर है //……………………..

चार दिन की चांदनी,ये रूप रंग और ये यौवन ,
रह जायेंगे, शब्द अमिट और मन मेरा जो सुन्दर है //

नहीं मिटेगी मृगतृष्णा,कस्तूरी मन के अन्दर है,
शांत कहाँ है ह्रदय मेरा,तुफानो से घिरा समन्दर है //
———-

Language: Hindi
1 Like · 1 Comment · 520 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from गुप्तरत्न
View all
You may also like:
फितरत
फितरत
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
कड़वा सच
कड़वा सच
Sanjeev Kumar mishra
कुदरत से मिलन , अद्धभुत मिलन।
कुदरत से मिलन , अद्धभुत मिलन।
Kuldeep mishra (KD)
चरम सुख
चरम सुख
मनोज कर्ण
कुछ रातों के घने अँधेरे, सुबह से कहाँ मिल पाते हैं।
कुछ रातों के घने अँधेरे, सुबह से कहाँ मिल पाते हैं।
Manisha Manjari
संगिनी
संगिनी
Neelam Sharma
सुबह-सुबह की लालिमा
सुबह-सुबह की लालिमा
Neeraj Agarwal
क्यों नहीं देती हो तुम, साफ जवाब मुझको
क्यों नहीं देती हो तुम, साफ जवाब मुझको
gurudeenverma198
💐 Prodigy Love-9💐
💐 Prodigy Love-9💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
बादलों के घर
बादलों के घर
Ranjana Verma
सुहाग रात
सुहाग रात
Ram Krishan Rastogi
हो सके तो मुझे भूल जाओ
हो सके तो मुझे भूल जाओ
Shekhar Chandra Mitra
Tumhari khubsurat akho ne ham par kya asar kiya,
Tumhari khubsurat akho ne ham par kya asar kiya,
Sakshi Tripathi
वैष्णों भोजन खाइए,
वैष्णों भोजन खाइए,
Satish Srijan
सबसे क़ीमती क्या है....
सबसे क़ीमती क्या है....
Vivek Mishra
2901.*पूर्णिका*
2901.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
क्रोध को नियंत्रित कर अगर उसे सही दिशा दे दिया जाय तो असंभव
क्रोध को नियंत्रित कर अगर उसे सही दिशा दे दिया जाय तो असंभव
Paras Nath Jha
*माता दाता सिद्धि की, सौ-सौ तुम्हें प्रणाम (कुंडलिया)*
*माता दाता सिद्धि की, सौ-सौ तुम्हें प्रणाम (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
*मैं और मेरी तन्हाई*
*मैं और मेरी तन्हाई*
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
थकावट दूर करने की सबसे बड़ी दवा चेहरे पर खिली मुस्कुराहट है।
थकावट दूर करने की सबसे बड़ी दवा चेहरे पर खिली मुस्कुराहट है।
Rj Anand Prajapati
ग़ज़ल
ग़ज़ल
abhishek rajak
"नया दौर"
Dr. Kishan tandon kranti
आज के समय में शादियां सिर्फ एक दिखावा बन गई हैं। लोग शादी को
आज के समय में शादियां सिर्फ एक दिखावा बन गई हैं। लोग शादी को
पूर्वार्थ
तेरे लहजे पर यह कोरी किताब कुछ तो है |
तेरे लहजे पर यह कोरी किताब कुछ तो है |
कवि दीपक बवेजा
सनम
सनम
Sanjay ' शून्य'
सबके हाथ में तराजू है ।
सबके हाथ में तराजू है ।
Ashwini sharma
" यादों की शमा"
Pushpraj Anant
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
#ग़ज़ल
#ग़ज़ल
*Author प्रणय प्रभात*
*कोपल निकलने से पहले*
*कोपल निकलने से पहले*
Poonam Matia
Loading...