खुश रहें मुस्कुराते रहें
खुश रहें मुस्कराते रहें
जिंदगी के हर रंग से सीखते रहें।
अपनों के प्यार का अमिट अमूल्य उपहार सजोते रहें।।
जिंदगी के खूबसूरत ख्वाबों को लेकर
जिंदगी की खूबसूरत कविता लिखते रहें।
बहें वक़्त के साथ मगर
स्मृतियों के धागों में खुद को पिरोते रहें।।
दुनियाँ देखती नजर आसमान में किए
जमीं पर पैर और कद आसमान में बढाते रहें।
जो मिले अपनों से खास
उस खास को जिंदगी की धरोहर बनाते रहें।
प्रद्युम्न अरोठिया