Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
24 Apr 2024 · 1 min read

“कौआ”

“कौआ”
कौआ करते काँव-काँव,
बड़े हैं इसके भाव-ताव।
पेड़ पर बैठे दिख जाते,
गली-गली हर गाँव-गाँव।
होते अति चतुर चालाक,
बड़े ही नखरे बड़े ही दाँव।

1 Like · 1 Comment · 32 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Dr. Kishan tandon kranti
View all
You may also like:
प्रेम क्या है...
प्रेम क्या है...
हिमांशु Kulshrestha
स्वयं में ईश्वर को देखना ध्यान है,
स्वयं में ईश्वर को देखना ध्यान है,
Suneel Pushkarna
*पुस्तक समीक्षा*
*पुस्तक समीक्षा*
Ravi Prakash
इश्क़ के नाम पर धोखा मिला करता है यहां।
इश्क़ के नाम पर धोखा मिला करता है यहां।
Phool gufran
नाही काहो का शोक
नाही काहो का शोक
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
मैं चाँद पर गया
मैं चाँद पर गया
Satish Srijan
Love yourself
Love yourself
आकांक्षा राय
■ विनम्र अपील...
■ विनम्र अपील...
*प्रणय प्रभात*
जग जननी है जीवनदायनी
जग जननी है जीवनदायनी
Buddha Prakash
आशा की एक किरण
आशा की एक किरण
Mamta Rani
एकतरफा सारे दुश्मन माफ किये जाऐं
एकतरफा सारे दुश्मन माफ किये जाऐं
Maroof aalam
बहुत संभाल कर रखी चीजें
बहुत संभाल कर रखी चीजें
Dheerja Sharma
खुद को पागल मान रहा हु
खुद को पागल मान रहा हु
भरत कुमार सोलंकी
Nowadays doing nothing is doing everything.
Nowadays doing nothing is doing everything.
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
शुद्धिकरण
शुद्धिकरण
Kanchan Khanna
मांँ
मांँ
Diwakar Mahto
When you think it's worst
When you think it's worst
Ankita Patel
माया
माया
Sanjay ' शून्य'
चिलचिलाती धूप में निकल कर आ गए
चिलचिलाती धूप में निकल कर आ गए
कवि दीपक बवेजा
बेवफाई की फितरत..
बेवफाई की फितरत..
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
डर के आगे जीत।
डर के आगे जीत।
Anil Mishra Prahari
3024.*पूर्णिका*
3024.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कुदरत के रंग.....एक सच
कुदरत के रंग.....एक सच
Neeraj Agarwal
चीं-चीं करती गौरैया को, फिर से हमें बुलाना है।
चीं-चीं करती गौरैया को, फिर से हमें बुलाना है।
अटल मुरादाबादी, ओज व व्यंग कवि
दिल का दर्द, दिल ही जाने
दिल का दर्द, दिल ही जाने
Surinder blackpen
गौरवशाली भारत
गौरवशाली भारत
Shaily
चारु कात देख दुनियाँ के सोचि रहल छी ठाड़ भेल ,की छल की भऽ गेल
चारु कात देख दुनियाँ के सोचि रहल छी ठाड़ भेल ,की छल की भऽ गेल
DrLakshman Jha Parimal
समुद्र इसलिए खारा क्योंकि वो हमेशा लहराता रहता है यदि वह शां
समुद्र इसलिए खारा क्योंकि वो हमेशा लहराता रहता है यदि वह शां
Rj Anand Prajapati
आज होगा नहीं तो कल होगा
आज होगा नहीं तो कल होगा
Shweta Soni
"निष्ठा"
Dr. Kishan tandon kranti
Loading...