कृतज्ञता
दिए गए अवदानों पर
किए गए उपकारों पर
कृतज्ञता ज्ञापित की जाती है
कृतज्ञ रहना ही दुनिया में
मनुज को मनुज बनाती है
ईश्वर मात पिता गुरु सृष्टि के
मनुज पर उपकार महान हैं
ऋणी और कृतज्ञ हैं हम सब
उनके अवदान महान हैं
जन्म दिया सुंदर धरती पर
प्रभु मुझ पर उपकार किया
दुर्लभ मनुज तन देकर तुमने
बहुत बड़ा उपहार दिया
कृतज्ञ रहूं जीवन भर सबका
जिसने भी अवदान दिया
मानवता के लिए समर्पित
जिसने भी जो काम किया
कृतज्ञ रहूं मैं सकल समाज का
सदा श्रेष्ठ मैं काम करूं
अपने चिंतन कर्म सोच से
मानव को अनुकरणीय बंनू
जन्म जन्मांतर की यात्रा में
देह यह दुर्लभ पाई है
अपने चाल चरित्र से मेरी
हो न जग में हंसाई है
सुरेश कुमार चतुर्वेदी