कहाँ गए वो लोग
कहाँ गए वो लोग
कहाँ गए वो लोग, वतन पर जान दिया करते थे
कहाँ गए वो लोग, मातृभूमि पर न्योछावर हो जाया करते थे
कहाँ गए वो लोग, जो देशभक्ति का ज़ज्बा जगाया करते थे
कहाँ गए वो लोग, जो मानवता को धर्म कहा करते थे
कहाँ गए वो लोग, पीर पराई को अपनी पीर कहा करते थे
कहाँ गए वो लोग, जो देश सेवा को धर्म कहा करते थे
कहाँ गए वो लोग, जिनकी कलम देश पर मर मिटा करती थी
कहाँ गए वो लोग, जो मातृभूमि पर गर्व किया करते थे
कहाँ गए वो लोग, जिन्होंने भारत माँ का मान बढ़ाया करते थे
कहाँ गए वो लोग, अपनी जवानी देश के नाम लिख दिया करते थे
कहाँ गए वो लोग, वतन पर जान दिया करते थे
कहाँ गए वो लोग, मातृभूमि पर न्योछावर हो जाया करते थे
कहाँ गए वो लोग, जो देशभक्ति का ज़ज्बा जगाया करते थे
कहाँ गए वो लोग, जो मानवता को धर्म कहा करते थे