कब अपना हाल कहोगे…
तुम याद तो कर लो ज़रा,
मुझको दिल में रख लो ज़रा !!
दिल है मेरा चुराया तुमने,
अपना मुझको बनाया तुमने,
अब सितम ढा रहे हो तुम
बे-वजह तड़पा रहे हो तुम !!
कैसा इश्क़ करती हो तुम,
दिल की कब सुनती हो तुम !!
ख़ुद से धोखा कर रही हो,
जो मुझसे मुँह फेर रही हो !!
बसता हूँ धड़कन में तेरी,
क्यूँ करती साथ अपने हेरा-फेरी !!
आख़िर कब तलक ऐसा करोगे,
मुझसे कब अपना हाल कहोगे !!
हनीफ़_शिकोहाबादी✍️