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23 Apr 2024 · 1 min read

“ऐतबार”

“ऐतबार”
सब जानते हैं यहाँ
कल पे कोई ऐतबार नहीं,
वही तो जिन्दगी थी
जो हम सबने जी ली।

3 Likes · 3 Comments · 117 Views
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