आख़िरी निशानी
कुछ दिन जवानी
और रह गई है!
थोड़ी-सी कहानी
और रह गई है!
सब कुछ दे दिया
तन से मन तक
आख़िरी निशानी
और रह गई है!
जो लिख सकता था
लिख दिया मैंने
लेकिन मुंह ज़बानी
और रह गई है!
मुझे छोड़ दिया
जब तूने ही
तो क्या जिंदगानी
और रह गई है!
Shekhar Chandra Mitra
(A Dream of Love)
#HeartBreak