Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 May 2021 · 1 min read

अपेक्षा

क्या कहूंँ उनसे ,
बागों में खिलते हैं वो।

अक्सर मुस्कुराते हैं,
खुद को समर्पित करते,
राह है उनकी अनजान,
अपेक्षा कैसे करें ।
क्या कहूंँ उनसे….।।१।

दर्द भी है मिशाल,
प्रेरित करते उनको,
देते जो अपने प्राण,
ये है वीर जवान; वीर जवान ।
क्या कहूंँ उनसे….।।२।

सुगंधित करते ईश को,
कर चरणों में विराजमान,
पल भर का जीवन उनका,
देते प्रसन्ता की मुस्कान ।
क्या कहूंँ उनसे….।।३।

बांधते स्वयं को,
एक डोर और गांँठ में,
जीवन भर बंध जाते,
मधुर बंधन में इंसान ।
क्या कहूंँ उनसे…..।।४।

मध्यम-मध्यम ताप में,
मुरझा जाते ये अनजान,
केश में हैं सजते,
बन नारी का श्रृंगार ।
क्या कहूंँ उनसे…….।।५।

हृदय-विदारक बन्धु भी,
सीखें प्रेम का वाचाल,
तन नहीं ये मन भी,
हर लेते हैं संसार ।
क्या कहूंँ उनसे……।।६।

स्वयं को अर्पित करते,
खुशियां देते हैं अपार,
बस यही अपेक्षा उनसे,
हृदय में जो बसते हैं ।
क्या कहूंँ उनसे……।।७।

#बुद्ध प्रकाश , मौदहा (हमीरपुर)

Language: Hindi
4 Likes · 2 Comments · 438 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Buddha Prakash
View all
You may also like:
सब्र रख
सब्र रख
VINOD CHAUHAN
मातर मड़ई भाई दूज
मातर मड़ई भाई दूज
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
मेरा बचपन
मेरा बचपन
Dr. Rajeev Jain
दोहा मुक्तक
दोहा मुक्तक
sushil sarna
असहाय मानव की पुकार
असहाय मानव की पुकार
Dr. Upasana Pandey
दोस्ती
दोस्ती
Neeraj Agarwal
सत्य उस तीखी औषधि के समान होता है जो तुरंत तो कष्ट कारी लगती
सत्य उस तीखी औषधि के समान होता है जो तुरंत तो कष्ट कारी लगती
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
मां
मां
Monika Verma
दिल पे पत्थर ना रखो
दिल पे पत्थर ना रखो
shabina. Naaz
पिता
पिता
लक्ष्मी सिंह
" आज चाँदनी मुस्काई "
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
जिन्हें बरसात की आदत हो वो बारिश से भयभीत नहीं होते, और
जिन्हें बरसात की आदत हो वो बारिश से भयभीत नहीं होते, और
Sonam Puneet Dubey
"आजादी के दीवाने"
Dr. Kishan tandon kranti
ख़्वाब आंखों में टूट जाते है
ख़्वाब आंखों में टूट जाते है
Dr fauzia Naseem shad
शुक्र मनाओ आप
शुक्र मनाओ आप
शेखर सिंह
"" *भारत* ""
सुनीलानंद महंत
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
सत्य कुमार प्रेमी
मोहब्बत में इतना सताया है तूने।
मोहब्बत में इतना सताया है तूने।
Phool gufran
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
नारी निन्दा की पात्र नहीं, वह तो नर की निर्मात्री है
नारी निन्दा की पात्र नहीं, वह तो नर की निर्मात्री है
महेश चन्द्र त्रिपाठी
पधारो मेरे प्रदेश तुम, मेरे राजस्थान में
पधारो मेरे प्रदेश तुम, मेरे राजस्थान में
gurudeenverma198
राजनीति में ना प्रखर,आते यह बलवान ।
राजनीति में ना प्रखर,आते यह बलवान ।
सत्येन्द्र पटेल ‘प्रखर’
कुछ बात थी
कुछ बात थी
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
#गजल:-
#गजल:-
*प्रणय प्रभात*
" पलास "
Pushpraj Anant
तीन बुंदेली दोहा- #किवरिया / #किवरियाँ
तीन बुंदेली दोहा- #किवरिया / #किवरियाँ
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
इंतजार करना है।
इंतजार करना है।
Anil chobisa
तुम,दर-दर से पूछ लो
तुम,दर-दर से पूछ लो
Inder Bhole Nath
अकेला
अकेला
Vansh Agarwal
23/188.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/188.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
Loading...