“कोढ़े की रोटी”
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“कोढ़े की रोटी”
धान की अति बारीक भूसी
सूपे से छनकी हुई होती,
फिर भाप के घर में रखकर
दादी पकाती गरमागरम रोटी।
परिवार के सारे लोगों की
वो भूख भगा जाती,
अकाल के खिलाफ़ जंग में
सैनिक की तरह शहीद हो जाती।
“कोढ़े की रोटी”
धान की अति बारीक भूसी
सूपे से छनकी हुई होती,
फिर भाप के घर में रखकर
दादी पकाती गरमागरम रोटी।
परिवार के सारे लोगों की
वो भूख भगा जाती,
अकाल के खिलाफ़ जंग में
सैनिक की तरह शहीद हो जाती।