Tag: हिन्दी कविता
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*बदले नहीं है आज भी लड़के*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
'' फितरत '' यार की
Surya Barman
गुनहगार तू भी है...
मनोज कर्ण
शाकाहार बनाम धर्म
मनोज कर्ण
अंधभक्ति
मनोज कर्ण
साँझ ढल रही है
अमित नैथानी 'मिट्ठू' (अनभिज्ञ)
तुम से ना हो पायेगा
Gaurav Sharma
जीवन की जंग
Ajad Mandori
वेलेंटाइन डे की प्रासंगिकता
मनोज कर्ण
244. "प्यारी बातें"
MSW Sunil SainiCENA
दीपक
MSW Sunil SainiCENA
:::: हवा ::::
MSW Sunil SainiCENA
::: प्यासी निगाहें :::
MSW Sunil SainiCENA
:::::जर्जर दीया::::
MSW Sunil SainiCENA
प्यास नहीं बुझती मन की
Ajad Mandori
मन साफ़ करो
Ajad Mandori
जिद कहो या आदत क्या फर्क,"रत्न"को
गुप्तरत्न
:::::::::खारे आँसू:::::::::
MSW Sunil SainiCENA
"हाँ! मैं मजदूर हूं..."
MSW Sunil SainiCENA
द्रौपदी पूछती है तुमसे
789 Yashbardhan Raj
कोई कह रहा था लोकतंत्र के बारे में —
SURYA PRAKASH SHARMA
लहरों पर चलता जीवन
मनोज कर्ण
"कोरोना लहर"
MSW Sunil SainiCENA
अनमोल है स्वतंत्रता
Kavita Chouhan
"आधुनिकता का परछावा"
MSW Sunil SainiCENA
नगर से दूर......
Kavita Chouhan
247. "पहली पहली आहट"
MSW Sunil SainiCENA
246. "हमराही मेरे"
MSW Sunil SainiCENA
245. "आ मिलके चलें"
MSW Sunil SainiCENA
२४३. "आह! ये आहट"
MSW Sunil SainiCENA
२४२. पर्व अनोखा
MSW Sunil SainiCENA
मुस्कान
Surya Barman
राम राज्य
Radha shukla
😟 काश ! इन पंक्तियों में आवाज़ होती 😟
Shivkumar barman
माँ की यादें
मनोज कर्ण
पितृ महिमा
मनोज कर्ण
पितृ वंदना
मनोज कर्ण
प्यार की कस्ती पे
Surya Barman
कुछ मज़ा ही नही,अब जिंदगी जीने मैं,
गुप्तरत्न
दफ़न हो गई मेरी ख्वाहिशे जाने कितने ही रिवाजों मैं,l
गुप्तरत्न
अब जीत हार की मुझे कोई परवाह भी नहीं ,
गुप्तरत्न
शब्दों मैं अपने रह जाऊंगा।
गुप्तरत्न
“गुप्त रत्न”नहीं मिटेगी मृगतृष्णा कस्तूरी मन के अन्दर है,
गुप्तरत्न
हिन्दी माई
Sadanand Kumar
माँ आई
Kavita Chouhan