मुक्तक
गहराई में आकर देखो,एक वेदना जमी मिलेगी,
अधरों पर मुस्कान भले हों, पर नयनों में नमी मिलेगी,
सागर में जल भरा हो लेकिन लहरें प्यासी की प्यासी,
प्यास बुझानेवाली धारा, कहीं ठिठककर थमी मिलेगी।
गहराई में आकर देखो,एक वेदना जमी मिलेगी,
अधरों पर मुस्कान भले हों, पर नयनों में नमी मिलेगी,
सागर में जल भरा हो लेकिन लहरें प्यासी की प्यासी,
प्यास बुझानेवाली धारा, कहीं ठिठककर थमी मिलेगी।