संवरना हमें भी आता है मगर,
नारी और चुप्पी
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
गले से लगा ले मुझे प्यार से
यूं जरूरतें कभी माँ को समझाने की नहीं होती,
दशमेश गुरु गोविंद सिंह जी
प्रस्तुति : ताटक छंद
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
Right now I'm quite notorious ,
"Communication is everything. Always always tell people exac
ये बता दे तू किधर जाएंगे।
Dr Arun Kumar shastri एक अबोध बालक
मूर्ख बनाकर काक को, कोयल परभृत नार।
लोककवि रामचरन गुप्त के रसिया और भजन
एक पति पत्नी भी बिलकुल बीजेपी और कांग्रेस जैसे होते है
एक विद्यार्थी जब एक लड़की के तरफ आकर्षित हो जाता है बजाय कित