One day you will leave me alone.
ये नफरत बुरी है ,न पालो इसे,
नये पुराने लोगों के समिश्रण से ही एक नयी दुनियाँ की सृष्टि ह
झर-झर बरसे नयन हमारे ज्यूँ झर-झर बदरा बरसे रे
तुम अगर कविता बनो तो गीत मैं बन जाऊंगा।
"जब आपका कोई सपना होता है, तो
उम्मीद की आँखों से अगर देख रहे हो,
नफरतों के शहर में प्रीत लुटाते रहना।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
मेरी सच्चाई को बकवास समझती है
देखता हूँ बार बार घड़ी की तरफ
मन रे क्यों तू तड़पे इतना, कोई जान ना पायो रे
सिर्फ पार्थिव शरीर को ही नहीं बल्कि जो लोग जीते जी मर जाते ह
*सुप्रसिद्ध हिंदी कवि डॉक्टर उर्मिलेश ः कुछ यादें*
■ इकलखोरों के लिए अनमोल उपहार "अकेलापन।"
कौड़ी कौड़ी माया जोड़े, रटले राम का नाम।
*तन्हाँ तन्हाँ मन भटकता है*
सुप्त तरुण निज मातृभूमि को हीन बनाकर के विभेद दें।