2 . भगत
चलो आज फिर से एक बार ‘भगत’ को पुकार जाय
इंक़लाब की नोक पे भूरे अंग्रेजों को ललकारा जाय।
कुंडली मार के जो हैं बैठे हुए, भूखे बच्चों के पेट पे
उन शैतानों को उनकी काली नीयत पे धिक्कारा जाय।
खून लगे हांथों ने जो उठा रखा है बाईबल,गीता, कुरान
उन हांथो पे संबिधान की किताब को उतारा जाय।
…सिद्धार्थ
**