नाना भांति के मंच सजे हैं,
Anamika Tiwari 'annpurna '
झूठा फिरते बहुत हैं,बिन ढूंढे मिल जाय।
जो लोग धन को ही जीवन का उद्देश्य समझ बैठे है उनके जीवन का भो
मुझे हर वक्त बस तुम्हारी ही चाहत रहती है,
मैं प्रगति पर हूँ ( मेरी विडम्बना )
पुरखों का घर - दीपक नीलपदम्
दीपक नील पदम् { Deepak Kumar Srivastava "Neel Padam" }
बहुत दिनों के बाद मिले हैं हम दोनों
फूलों की खुशबू सा है ये एहसास तेरा,
किसी के इश्क में ये जिंदगी बेकार जाएगी।
अधिक हर्ष और अधिक उन्नति के बाद ही अधिक दुख और पतन की बारी आ
प्रेम की मर्यादा
singh kunwar sarvendra vikram
सारी जिंदगी की मुहब्बत का सिला.
*साला-साली मानिए ,सारे गुण की खान (हास्य कुंडलिया)*
उत्तराखंड के बाद अब दहकने लगे दुनियां के फेफड़े
" कौन मनायेगा बॉक्स ऑफिस पर दिवाली -फ़िल्मी लेख " ( भूल भूलेया 3 Vs सिंघम अगेन )