हास्य रचना
मुंबइया स्टाईल मे एक रचना का प्रयास
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हुल्लड़ वुल्लड़ धूम धड़ाका
मस्ती वस्ती करने का
दूर हटा दो गम को प्यारे
जोर लगाकर हँसने का ।
कोई अपुन से प्यार से बोले
पप्पी झप्पी दे देंगे
कोई अगर जो आँख दिखाये
कान के नीचे धरने का ।
हाथ जोड़ के थक जाओ तो
ऎसा काम करो वीडू
जिसकी लाठी भैंस उसी की
हाथ मे डंडा रखने का ।
पप्पू-वप्पू, फेंकू-वेंकू,
बात मे इनकी मत आना
खायेंगे ये दूध मलाई
हमको ठेंगा मिलने का ।
चाहे कुछ न आता हमको
फिर भी खुद से लिखने का
इसकी चोरी उसकी काॅपी
काम नही ये करने का ।
गीतेश दुबे ” गीत “