हमने उनकी राह तकी
हमने उनकी राह तकी,
फिर भी वो आ न सकी,
हमने चाहत छुपा रखी,
बनाकर उन्हें अपनी सखी,
वो खुद न आये द्वार,
हम लेकर बैठे हार,
कब दूर हो इंतज़ार,
वो करते नही इकरार,
देख उनकी मुस्कान,
दूर हो जाती थकान,
वो ही है मेरा जहान,
उनसे मिलता ज्ञान,
हम समझ बैठे प्यार,
वो तो समझती यार,
स्नेह उनका अपार,
कैसे करें सक्षात्कार,
।।।जेपीएल।।।