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30 Dec 2024 · 1 min read

सुनो,

सुनो,
प्रेम की ऊंचाईयों से
प्रेम की गहराई देख रहा हूं
सही समझ रहे हो तुम….
मैं बस,
तुम्हें ही सोच रहा हूं…..!!

हिमांशु Kulshrestha

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