**** सायली छंद ****
** सायली छंद **
विषय: “देश”
देश
की सेवा
में चाहे प्राण
ही देना
पड़े।
तो
प्राण देकर
देश की रक्षा
हमें करनी
पड़ेगी।
देश
पर जो
मर मिटे करते
उनका हम
नमन।
वीर
शहीदों की
कुर्बानी का करते
शत-शत
वंदन।
विषय: “रक्षाबंधन”
बहन
बांधती है
भाई की कलाई
पर अपना
प्यार।
दुआ
करती है
भाई की खातिर
आयु मिले
अपार।
आता
भाई-बहन
का स्नेह लेकर
रक्षाबंधन का
त्यौहार।
विषय: “गुरुपूर्णिमा”
बिन
गुरु ज्ञान
नहीं मिल पाये
होते गुरु
महान।
सिद्ध
नहीं हो
पाता कोई किये
बिना गुरु
ध्यान।
गुरु
की महिमा
बतलाने ही तो
गुरुपूर्णिमा आता
है।
गुरु
शिष्यों के
जीवन में आकर
करता मार्ग
प्रशस्त।
दीपक “दीप” श्रीवास्तव
महाराष्ट्र