साथ छोड़ दिया….
सावन के जाने के बाद, फुहारों ने साथ छोड़ दिया।
कैसा आया पतझड़ इस बार कि
बहारों ने साथ छोड़ दिया।
तारें जो संग जागते थे हमारे,
सुबह आने पर उन सितारों ने साथ छोड़ दिया।
आंखों में थे कुछ उजले सपने हमारी भी, पर रिश्ता कुछ यूं जुड़ा आंसुओं से कि सब नजारों ने साथ छोड़ दिया।
कोई तो था जो हमारे लिए जीता था
न जाने क्या हुआ कि अब सहारो ने साथ छोड़ दिया।