सरस्वती वंदना
सरस्वती वंदना
माँ शारदे दया का , अब दान हमें दे दो।
पा जाएं तुम्हें अब हम, वरदान हमें देदो।।
कर दो कृपा माँ ऐसी बालक हैं जानकर।
आएं है हम मनाने तुम्हे अपना मानकर।।
आज्ञान का अंधेरा घेरे हमें हर पल में।
महिमा तुम्हारी व्यापी अम्बर धारा व जल में।।
माँ हंसवाहिनी हो तुम श्वेत वस्त्र धारी।
करुणा कृपा को पाकर पुलकित है नर नारी।।
अब आस मेरी सुन लो आये शरण तुम्हारी।
सबको तुम्ही ने तारा अब बारी है हमारी।।
स्वरचित सरस्वती वंदना
तरुण सिंह पवार