सम्मान
संबंधो के तार न टूटे ,
इसलिए सम्मान जरुरी है।
जीवन के देवता न रुठे,
स्वयं का उत्थान जरुरी है।
सम्मान की चाहत अभिमान न जगाएं,
प्रगति की इच्छा आत्मसम्मान न भुलाएं।
।। रुचि दूबे।।
संबंधो के तार न टूटे ,
इसलिए सम्मान जरुरी है।
जीवन के देवता न रुठे,
स्वयं का उत्थान जरुरी है।
सम्मान की चाहत अभिमान न जगाएं,
प्रगति की इच्छा आत्मसम्मान न भुलाएं।
।। रुचि दूबे।।