समझ आती नहीं है
समझ आती नहीं है
अब…
इश्क और प्यार की बातें
बेवजह होती हुई
तकरार की बातें
कुछ अनकही
कुछ अनसुनी बातेँ
किस क़दर
करते रहें समझौता
जिंदगी तुझ से
कभी है इन्कार
कभी इकरार की की बातेँ
हिमांशु Kulshrestha
समझ आती नहीं है
अब…
इश्क और प्यार की बातें
बेवजह होती हुई
तकरार की बातें
कुछ अनकही
कुछ अनसुनी बातेँ
किस क़दर
करते रहें समझौता
जिंदगी तुझ से
कभी है इन्कार
कभी इकरार की की बातेँ
हिमांशु Kulshrestha