संघर्ष की दास्तां!
संघर्ष की दास्तां!
ये चेहरे की झुर्रियां,
ये बालों की सफेदी,
मेरे लम्बे संघर्ष की दास्तां है
ये मुस्कुराहट ,मेरे हौंसलों का प्रमाण है॥
रोते हुये का साथ कोई निभाता नहीं
हंसते हुये को कोई देख पाता नहीं
मैं यहां तक पहुंच पाई
ये कुदरत का वरदान है
मेरे लम्बे संघर्ष की लम्बी दास्तां है॥
रास्ता बहुत कठिन है,कंटीली राहे हैं
मार्ग तलाश करती रही,ये हौंसलों की उड़ान है।
मेरे लम्बे संघर्ष की यही दास्तां है॥
सरल नहीं है यूं अकेले चल पाना
कभी मौन रहना तो कभी मुस्कुराना
पल-पल दर्द को जीना,आंसुओं को पी जाना
सहज होकर चट्टान सा दिखलाना
मुखौटा ओढ़कर पहचान को छिपाना
सरल नहीं है ये सब झेल पाना!
दीपाली कालरा