Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
21 Aug 2023 · 1 min read

शीर्षक-मिलती है जिन्दगी में मुहब्बत कभी-कभी

शीर्षक-मिलती है जिन्दगी में मुहब्बत कभी-कभी
स्थाई- मिलती न हर किसी को सौहरत कभी-कभी। बनता अनौखा ऐसा मुहूर्त कभी-कभी।।अं•-मन से मिलें न मन,कैसे सुमन खिलें कैसे सुमन खिलें—उड़ान-ठौकर लगे समलतें हैं जग वालें कभी-कभी।।मिलती न हर किसी को सौहरत कभी-कभी——–अं•-न भाये समझ आये, जीवन की राहों में जीवन की राहों में——उड़ान-नैन सुक तुम्हें बताये, रस्ता कभी-कभी मिलती न हर किसी को सौहरत कभी-कभी—-अं•-जल जायेगा ये जीवन, पीने को जलन हो।।२पीने को जल न हो—–उड़ान-परमार्थी जग में प्रकट होता है कभी-कभी। मिलती–
अं•-रटना अगर रटे तो, रट लेना राम की।।२रट लेना राम की—–उड़ान-जीवन सुधारना हो,भज लेना कभी-कभी।।मिलती न-अं•-जग जाये अंतर्मन में, ह्रदय के राम जी। ह्रदय के राम जी——उड़ान-मिलती है राम भक्ति सबरी-सी कभी-
कभी।।मिलती न हर किसी को सौहरत कभी-कभी-बनता अनौखा ऐसा मुहूर्त कभी-कभी।।

स्वरचित एवं मौलिक
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी उत्तर प्रदेश

1 Like · 383 Views

You may also like these posts

ज़ख्मों की गहराई
ज़ख्मों की गहराई
Dr. Rajeev Jain
2. *मेरी-इच्छा*
2. *मेरी-इच्छा*
Dr .Shweta sood 'Madhu'
#आज_का_मुक्तक
#आज_का_मुक्तक
*प्रणय*
कभी भी दूसरो की बात सुनकर
कभी भी दूसरो की बात सुनकर
Ranjeet kumar patre
कुंडलिया छंद
कुंडलिया छंद
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
मै स्त्री कभी हारी नही
मै स्त्री कभी हारी नही
dr rajmati Surana
कुंडलिया छंद विधान ( कुंडलिया छंद में ही )
कुंडलिया छंद विधान ( कुंडलिया छंद में ही )
Subhash Singhai
मित्रो मैं इस प्लेटफॉर्म से  मेरी सारी रचनाओं को हटाने जा रह
मित्रो मैं इस प्लेटफॉर्म से मेरी सारी रचनाओं को हटाने जा रह
मधुसूदन गौतम
हर किसी को कोई प्यार का दीवाना नहीं मिलता,
हर किसी को कोई प्यार का दीवाना नहीं मिलता,
Jyoti Roshni
पेड़ और चिरैया
पेड़ और चिरैया
Saraswati Bajpai
होली आने वाली है
होली आने वाली है
नेताम आर सी
"माला"
Shakuntla Agarwal
खोने के लिए कुछ ख़ास नहीं
खोने के लिए कुछ ख़ास नहीं
The_dk_poetry
मौर ढलल
मौर ढलल
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
मर्यादा
मर्यादा
लक्ष्मी सिंह
लाल बहादुर शास्त्री
लाल बहादुर शास्त्री
Kavita Chouhan
हरि प्रबोधिनी एकादशी
हरि प्रबोधिनी एकादशी
Kanchan verma
"एकता का पाठ"
Dr. Kishan tandon kranti
मुश्किल है बहुत
मुश्किल है बहुत
Dr fauzia Naseem shad
वक्त का ही जग में दौर है ।
वक्त का ही जग में दौर है ।
Rj Anand Prajapati
छोटी - छोटी बातें
छोटी - छोटी बातें
Shyam Sundar Subramanian
मैं एक आम आदमी हूं
मैं एक आम आदमी हूं
हिमांशु Kulshrestha
पंचतत्व का परमतत्व में विलय हुआ,
पंचतत्व का परमतत्व में विलय हुआ,
Anamika Tiwari 'annpurna '
बेटियों का जीवन_एक समर– गीत।
बेटियों का जीवन_एक समर– गीत।
Abhishek Soni
*भगवान कृष्ण ने गीता में, निष्काम कर्म को गाया था (राधेश्याम
*भगवान कृष्ण ने गीता में, निष्काम कर्म को गाया था (राधेश्याम
Ravi Prakash
पत्रकार दिवस
पत्रकार दिवस
Dr Archana Gupta
24/243. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
24/243. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
शौक या मजबूरी
शौक या मजबूरी
संजय कुमार संजू
तुम्हारा यूँ लाड़ लड़ाना
तुम्हारा यूँ लाड़ लड़ाना
ललकार भारद्वाज
"A Dance of Desires"
Manisha Manjari
Loading...