शीर्षक:बिन पतवार किनारे तक
शीर्षक: बिन पतवार किनारे तक
कोशिश से कामयाबी तक
हार से जीतने तक
दुःख से सुखानुभूति तक
विछोह से मिलन तक
टीस की पीड़ा से कराहट तक
बिन स्वर ही सुनाने तक
बिन सुने ही समझने तक
बिन समझ ही समझने तक
बिन डूबे ही पार होने तक
बिन सहारे ही तिर जाने तक
बिन पतवार खेवनहारे तक
बिन बुलाए किनारे तक
बिन घात शिकार तक
बिन राह मंजिल तक
बिन खोले राज खुलने तक
बिन चाह खुशियों तक
बिन प्रार्थना स्वीकार्य तक
बिन सीखे सीखने तक
बिन चाहे मिलने तक
बिन पीड़ा सुन्न शब्द तक
बिन मरे ही दफन तक
बिन कफ़न ही जाने तक
घर से श्मशान तक
बिन जताए अहसास तक
डॉ मंजु सैनी
गाज़ियाबाद