वीर सुभाष
वाणी में था जिनके जोश भरा,
वह वीर कहाँ किसी से डरा,
जिनका लोहा हिटलर ने माना,
सारे विश्व ने जिनको पहचाना,
एक ही नारा था आजादी पाना,
अपने तिरंगे को घर-घर फहराना,
वे आजादी का सपना लिए लड़े,
देश के लिए हर वक़्त रहें खड़े,
भारत माँ के वीर सिपाही को,
स्वतंत्रता के सच्चे राही को,
सारा “जग” करता आज नमन,
जय -जय सुभाष कहे जन-जन,
—–जेपीएल