वक्त
गीत – – – – – –
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का शबब तेरी तारीख का नूर बताने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
तेरे लम्हों ने जहां को बनते बिगड़ते देखा तूं ही इंसा को जमाने में बताने वाला ।।
तूं ही किस्मत का करिश्मा राजा रंक बनाने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
कभी मुकद्दर का गूरुर कभी ताकत का सूरुर हुस्न दौलत कि चमक चाँद दिखाने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
तेरी करम का बूझदिल इंसा तेरी रहमों का इंसा खुदा भगवान् तूं ही खुदा भगवान् को जमाने में लाने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
तूं चलता मचलता है अपनी रफ्तार में इंसा तेरी रफ्तार का रफ्ता रफ्ता जहाँ कि तमाम जागीर का तूं ही रखवाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
कभी दुआयों कि मुस्कान कही गमगिन हालत कि चाल कभी चहतों कि चाहत मंज़िलाै कि राह बताने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
तूं रुकता ही नहीं चलता जाता खुदा भी बुलाए लौट कर नहीं आता इंसा तेरे लम्हों कि कसक यादों में जीता जाता!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!
तूं ठहरता है वहां जहां तेरी रफ्तार कि नई पहचान बनाता कोई, तूं दुनिया को इंसान के चेहरों में खुदा भगवान् कि पहचान बताने वाला!!
एै वक्त ठहर जा कोई खास अंदाज़ है आने वाला तेरे लम्हों के इंतज़ार का सबब तेरी तारीख कि का नूर बताने वाला!!