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सिद्धार्थ गोरखपुरी
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6 May 2022 · 1 min read
लहजा
लहजा वक़्त देखकर बदल जाता है
आप से तुम, तुम से तूँ का सफ़र यूँही नहीं होता
-सिद्धार्थ गोरखपुरी
Language:
Hindi
Tag:
शेर
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· 410 Views
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