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10 Aug 2021 · 1 min read

राजनेता

कोई नई बात नहीं,
कहकर भूल जाना,
झूठ के पुलिंदे छापे
जहां भी वे है जाते
वहीं के बाँध लें साफे,
जमात कर ले इकट्ठे
सभी एक जैसे बैठे
समान सोच वाले चट्टे
दूसरी गली के बतला
लेते है जो शक्स बदला
नाम रखते कार्यकर्ता
करते चाहे सो बनता,
पद मिल जाये फिर
भले कौन अपने साथ
चाहे जिसमें डाले हाथ
सब पराया माल अपना
कोई नई बात नहीं.
काहे को जनता की सुनना
चाहे जो बहाने धरना,
जनता के बीच आकर
छल,कपट,सफाई धरना
कोई नई बात नहीं…

Language: Hindi
3 Likes · 3 Comments · 352 Views
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