यूपी क्यों रहा सदा फिसड्डी
जन संसाधन में नंबर वन
यूपी क्यों रहा सदा फिसड्डी
राजनेताओं ने लूटपाट कर
खोखली कर दी इसकी हड्डी
आजादी के बाद से लोकतंत्र
का यहाँ उड़ता रहा मखौल
नेताओं ने सियासत को बना
कर रखा सदा धंधा अनमोल
जन कल्याण के नाम पर वो
बनाते रहे अटपटे से विधान
समस्याओं के जाल में उलझा
झटपटाता रहा यहाँ हर इंसान
विकास के मानकों पर और
राज्यों से पीछे रहा लगातार
फिर भी राजनेताओं के मानस
में परिवर्तन दिखा न किसी बार
निज सत्ता और रोब दाब को ही
वो मानते रहे सही राजनीति
कैलेंडर तो बहुत से बदले मगर
नहीं बदली यूपी की राजनीति
रोजगार. शिक्षा. स्वास्थ्य सेवाओं
के लिए यहाँ लोग होते हलकान
फिर भी विकास को लेकर गाल
बजाते रहते यहां के नेता महान
आखिर क्यों सदा पिछड़ा रहा
और राज्यों से यह उत्तर प्रदेश
लाख टके का सवाल यह अब
भी हर आदमी के सामने है पेश
राजनीति में हर आदमी को अब
रखनी होगी समुचित भागीदारी
वर्ना युग युग तक सिर पर मंडराती
उसके सिर्फ विवशता औ लाचारी