Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
7 Sep 2021 · 1 min read

यमुना की प्रतीक्षा …

किनारे पर खड़ी आंखें बिछाए ,
कब आओगे मेरे मोहन प्यारे ।

चले आओ ना एक बार फिर,
मैं प्रतीक्षा रत हूं दर्शन को तुम्हारे ।

कल्की अवतार में कब आओगे,
यदि आए तो अवश्य आना मेरे तीरे ।

वही नन्हे नन्हे चरण मेरे जल में डालना ,
मैं तेरे चरण पखारूंगी जिन्हें छूकर ,
शीतल होंगे प्राण मेरे ।

या फिर गयुएं चराना ,मधुर बंसी बजाना,
खड़े हो इस कदंब के वृक्ष के सहारे ।

हां ! प्रतीक्षा रत हूं ये सुन्दर दृश्य देखने को ,
की फिर से तुम रास रचाओ राधा और गोपियां संग ,
के धन्य हो जाएं मेरे किनारे ।

तुम राधा को पुकारो , पुनः बंसी बजाकर ,
और प्रेमलाप करो,इसी आशा से ये नयन पंथ निहारें।

वो है तुम्हारी प्रेयसी और मैं तुम्हारी पटरानी ,
तुम्हारी शपथ मुझे डाह नहीं पुकारो चाहे राधे राधे !!
बस मुझे एक बार इतना कह दो ,” मैं हूं संग तुम्हारे” ।

प्रतीक्षा रत हूं पुनः अपने ग्वाल बालों के संग ,
नृत्य करो ,केंदुकेन खेलो मेरे तट के किनारे ।

मेरे कान्हा ! मेरी कामना है ये भी तुम पुनः
केंदुकेन फेंको मेरी सतह पर ।
देखो ना ! प्रदूषण नामक कालिया नाग ने ,
पुनः डेरा डाल लिया भीतर मेरे।

उसे मारकर मुझे मुक्त करो ,
अतिशीघ्र आओ मेरे नाथ !
अपने मिलन का वचन निभाओ ।
बस ! अब और प्रतीक्षा मत करवाओ ,
पैयां पड़ूं मैं तेरे ,

प्रभु ! अब मैं तुम्हारे बिना रह न सकूंगी ,
जब तक न आओगे ,तुम्हारी बाट तकूंगी।
जब तक इस घट में रहेंगे प्राण मेरे ।

Language: Hindi
1 Like · 2 Comments · 223 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from ओनिका सेतिया 'अनु '
View all
You may also like:
" बड़ा "
Dr. Kishan tandon kranti
कामवासना
कामवासना
Sandhya Chaturvedi(काव्यसंध्या)
चुना था हमने जिसे देश के विकास खातिर
चुना था हमने जिसे देश के विकास खातिर
Manoj Mahato
पिछले पन्ने 9
पिछले पन्ने 9
Paras Nath Jha
मोहब्बत का अंजाम कभी खुशी कभी गम।
मोहब्बत का अंजाम कभी खुशी कभी गम।
Rj Anand Prajapati
!! कुद़रत का संसार !!
!! कुद़रत का संसार !!
Chunnu Lal Gupta
आम की गुठली
आम की गुठली
Seema gupta,Alwar
मस्अला क्या है, ये लड़ाई क्यूँ.?
मस्अला क्या है, ये लड़ाई क्यूँ.?
पंकज परिंदा
*माँ दुर्गा का प्रथम स्वरूप - शैलपुत्री*
*माँ दुर्गा का प्रथम स्वरूप - शैलपुत्री*
Shashi kala vyas
किसी को टूट कर चाहना
किसी को टूट कर चाहना
Chitra Bisht
Attraction
Attraction
Vedha Singh
3652.💐 *पूर्णिका* 💐
3652.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
14, मायका
14, मायका
Dr .Shweta sood 'Madhu'
तुम मुझे भूल जाओ यह लाजिमी हैं ।
तुम मुझे भूल जाओ यह लाजिमी हैं ।
Ashwini sharma
गीत
गीत
Shiva Awasthi
खुद में भी एटीट्यूड होना जरूरी है साथियों
खुद में भी एटीट्यूड होना जरूरी है साथियों
शेखर सिंह
उल्फ़त का  आगाज़ हैं, आँखों के अल्फाज़ ।
उल्फ़त का आगाज़ हैं, आँखों के अल्फाज़ ।
sushil sarna
..
..
*प्रणय*
अहम जब बढ़ने लगता🙏🙏
अहम जब बढ़ने लगता🙏🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
देश की पहचान
देश की पहचान
Dr fauzia Naseem shad
महफिले लूट गया शोर शराबे के बगैर। कर गया सबको ही माइल वह तमाशे के बगैर। ❤️
महफिले लूट गया शोर शराबे के बगैर। कर गया सबको ही माइल वह तमाशे के बगैर। ❤️
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
International  Yoga Day
International Yoga Day
Tushar Jagawat
हमारी सोच
हमारी सोच
Neeraj Agarwal
हिंदी भारत की पहचान
हिंदी भारत की पहचान
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
*स्वप्न को साकार करे साहस वो विकराल हो*
*स्वप्न को साकार करे साहस वो विकराल हो*
पूर्वार्थ
मत करना तू मुझ पर भरोसा
मत करना तू मुझ पर भरोसा
gurudeenverma198
ना कहीं के हैं हम - ना कहीं के हैं हम
ना कहीं के हैं हम - ना कहीं के हैं हम
Basant Bhagawan Roy
समय बदलने पर
समय बदलने पर
महेश चन्द्र त्रिपाठी
कायनात की हर शय खूबसूरत है ,
कायनात की हर शय खूबसूरत है ,
Neelofar Khan
*हिंदू कहने में गर्व करो, यह ऋषियों का पावन झरना (राधेश्यामी
*हिंदू कहने में गर्व करो, यह ऋषियों का पावन झरना (राधेश्यामी
Ravi Prakash
Loading...