मैं तो महज संसार हूँ
मैं तो महज संसार हूँ
मैं तो महज संसार हूँ
जीव-जंतु हैं जो आए
सारे मुझमे हैं समाए
मैं तो महज संसार हूँ
आते हैं सब जाते हैं
मुझे यही सब पाते हैं
मैं तो महज संसार हूँ
सच्चाई भूले हैं सब
दौलत में फूले हैं सब
मैं तो महज संसार हूँ
सांस निकल जानी है
दौलत रह जानी है
मैं तो महज संसार हूँ
किसको रहना है यहाँ
V9द होना है फनाह
मैं तो महज संसार हूँ