मेरे अश’आर
ख़्वाब उनके… आँखों में ज़िंदा है ।
उड़ने को बेचैन दिल का परिंदा है ।।
मैंने पाला है बस शौक़ मुहब्बत का ।
सब जानते हैं. मेरे शौक़ चुनिंदा है ।।
©डॉक्टर वासिफ़ काज़ी ,इंदौर
©काज़ीकीक़लम
ख़्वाब उनके… आँखों में ज़िंदा है ।
उड़ने को बेचैन दिल का परिंदा है ।।
मैंने पाला है बस शौक़ मुहब्बत का ।
सब जानते हैं. मेरे शौक़ चुनिंदा है ।।
©डॉक्टर वासिफ़ काज़ी ,इंदौर
©काज़ीकीक़लम