मेरा तुमसे नाता इतना
5-मेरा तुमसे नाता
(The bond between us)
मेरा तुमसे नाता इतना,
मैं गागर हूँ तुम हो पानी,
मैं मरूथल की रेत सी तपती,
तुम मेघों से लगते शीतल,
मैं आँखों की कोर पनीली,
तुम अधरों की स्मित से प्रियतम,
मैं छंदमुक्त सी बात हूँ कहती,
तुम गीतों से रचते जीवन,
तुमने अनुभव के वृक्ष लगाये,
मैंने प्रेम की बेल है सींची,
तुमने खुशियाँ जिद कर पा लीं
मैंने दुःख के स्वीकारे पैरहन।
मेरा तुमसे नाता इतना।