मिथिला मैथिली के ठीकेदारी? (हास्य कविता)
कोनो गतर मे लाजे नै?त बाते की?
गारि गंजन लगले कपरफोरियो क लेब?
हमरा सन बुझक्कर तेसर के नै जानी?
करब हम मिथिला मैथिली के ठीकेदारी?
दिन भरि हो हो हो करब?
आ गलथोथरी भरल किरदानी?
कुतर्के क पेट भरत कहाएब त मैथिली सेबी?
चेला चटिया त लगले कहत बुधियार बुद्धजीवि?
मिथिला मैथिली के यथार्थ किन्नौ ने मानब?
स्वीकारब ने गलती बेमतलबो करैत रहब गलथोथरी?
होहकारी विद्या स त राता राति प्रसिद्धी भेटत?
कवि साहित्यकार मैथिली सेवी की सब ने कहाएब?
कहाँदिन बड्ड फायदा छै लगले रहब हरदम देबै होहकारी?
निरलज्जा बनल रहब करब हम मिथिला मैथिली के ठीकेदारी?
हम कुतर्को करब तइयो लाॅबीबाज हमरा पोसत
अनकर मोजर बेर मे जाति पहिने देखब?
के की लेत हमरा हमहीं टा भंगपीबाह खेलाड़ी?
मैथिली धो धो खाएब पकाएब आ करब ठीकेदारी?
कवि- किशन कारीगर
(©काॅपीराईट)