Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Jan 2024 · 1 min read

**मातृभूमि**

मातृभूमि शत शत प्रणाम
हे मातृभूमि तुमको प्रणाम |
सुरभित रूपसी वन शृंगार
हे सुखदायक दीनाक्षार
चरण तेरे मिलता विश्राम
मातृभूमि शत शत प्रणाम
हे मातृभूमि तुमको प्रणाम |
अंक हिमालय अविरल गंगा
अविरत गतिमय जीव बहु संगा
उपजे, हुए विलीन अविराम
मातृभूमि शत शत प्रणाम
हे मातृभूमि तुमको प्रणाम |
ह्रास नीर, पर्वत बहु कानन
विप्रलंभ अवनी का आनन
नारी अलंकार बिन कैसी
क्षत-विक्षत अवनी के जैसी
शीतल अंबु, वात प्राणमय
स्रोत धरा, हृदय करुणामय
हृदय विशाल पर क्यूँ आघात
जीवन रहित है श्व: प्रभात
हा मानव ! भूमि निष्काम
मातृभूमि शत शत प्रणाम
हे मातृभूमि तुमको प्रणाम |
निज सर्वस्व करता स्थापित
मानव, दानव सम परिभाषित
ज्यों मधुमक्षिका दंश डसाये
हतभागी निज जीवन खाये
धरा क्षति से वैसे ही अब
निज विध्वंश करेगा मानव
हो विसाल ना हो संग्राम
मातृभूमि शत शत प्रणाम
हे मातृभूमि तुमको प्रणाम |
मातृभूमि शत शत प्रणाम…………………..
– स्वरचित (मौलिक) @@@ लक्ष्मण बिजनौरी (लक्ष्मीकान्त)

75 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
"सुसु के डैडी"
*Author प्रणय प्रभात*
जबसे तुमसे लौ लगी, आए जगत न रास।
जबसे तुमसे लौ लगी, आए जगत न रास।
डॉ.सीमा अग्रवाल
मत कुरेदो, उँगलियाँ जल जायेंगीं
मत कुरेदो, उँगलियाँ जल जायेंगीं
Atul "Krishn"
वसन्त का स्वागत है vasant kaa swagat hai
वसन्त का स्वागत है vasant kaa swagat hai
Mohan Pandey
मुक्तक
मुक्तक
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
कालजयी जयदेव
कालजयी जयदेव
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
"हँसता था पहाड़"
Dr. Kishan tandon kranti
कवि की कल्पना
कवि की कल्पना
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '
गीत... (आ गया जो भी यहाँ )
गीत... (आ गया जो भी यहाँ )
Dr. Rajendra Singh 'Rahi'
जो खास है जीवन में उसे आम ना करो।
जो खास है जीवन में उसे आम ना करो।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
मन काशी मन द्वारिका,मन मथुरा मन कुंभ।
मन काशी मन द्वारिका,मन मथुरा मन कुंभ।
विमला महरिया मौज
फितरत अमिट जन एक गहना🌷🌷
फितरत अमिट जन एक गहना🌷🌷
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
কুয়াশার কাছে শিখেছি
কুয়াশার কাছে শিখেছি
Sakhawat Jisan
SHELTER OF LIFE
SHELTER OF LIFE
Awadhesh Kumar Singh
फिदरत
फिदरत
Swami Ganganiya
उम्मीद और हौंसला, हमेशा बनाये रखना
उम्मीद और हौंसला, हमेशा बनाये रखना
gurudeenverma198
International plastic bag free day
International plastic bag free day
Tushar Jagawat
कौन नहीं है...?
कौन नहीं है...?
Srishty Bansal
रूठी बीवी को मनाने चले हो
रूठी बीवी को मनाने चले हो
Prem Farrukhabadi
सबसे प्यारा माॅ॑ का ऑ॑चल
सबसे प्यारा माॅ॑ का ऑ॑चल
VINOD CHAUHAN
पिता संघर्ष की मूरत
पिता संघर्ष की मूरत
Rajni kapoor
अंबेडकर और भगतसिंह
अंबेडकर और भगतसिंह
Shekhar Chandra Mitra
2833. *पूर्णिका*
2833. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
गर कभी आओ मेरे घर....
गर कभी आओ मेरे घर....
Santosh Soni
उलझा रिश्ता
उलझा रिश्ता
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
मेरा होकर मिलो
मेरा होकर मिलो
Mahetaru madhukar
दिये को रोशननाने में रात लग गई
दिये को रोशननाने में रात लग गई
कवि दीपक बवेजा
मुकाम यू ही मिलते जाएंगे,
मुकाम यू ही मिलते जाएंगे,
Buddha Prakash
*नारियों को आजकल, खुद से कमाना आ गया (हिंदी गजल/ गीतिका)*
*नारियों को आजकल, खुद से कमाना आ गया (हिंदी गजल/ गीतिका)*
Ravi Prakash
क्या विरासत में
क्या विरासत में
Dr fauzia Naseem shad
Loading...