Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Oct 2021 · 1 min read

मां

लोग क्या से क्या हो गए देखते-देखते।
सिर्फ़ मां ही मां रही ताउम्र गिरते परते।
लोगों के वास्ते कुछ किया तो क्या ख़ाक
किया,
गर कुछ कर न सका तूँ मां के वास्ते।
-सिद्धार्थ गोरखपुरी

Language: Hindi
2 Likes · 304 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
आजादी
आजादी
नूरफातिमा खातून नूरी
........,
........,
शेखर सिंह
3063.*पूर्णिका*
3063.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
गरीबी हटाओं बनाम गरीबी घटाओं
गरीबी हटाओं बनाम गरीबी घटाओं
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
मतवाला मन
मतवाला मन
Dr. Rajeev Jain
विश्व हिन्दी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं
विश्व हिन्दी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं
Lokesh Sharma
मंजिल तक पहुँचने के लिए
मंजिल तक पहुँचने के लिए
विनोद कृष्ण सक्सेना, पटवारी
नवीन वर्ष (पञ्चचामर छन्द)
नवीन वर्ष (पञ्चचामर छन्द)
नाथ सोनांचली
जीवन
जीवन
Monika Verma
*जिंदगी में साथ जब तक, प्रिय तुम्हारा मिल रहा (हिंदी गजल)*
*जिंदगी में साथ जब तक, प्रिय तुम्हारा मिल रहा (हिंदी गजल)*
Ravi Prakash
खुद से भी सवाल कीजिए
खुद से भी सवाल कीजिए
Mahetaru madhukar
देव-कृपा / कहानीकार : Buddhsharan Hans
देव-कृपा / कहानीकार : Buddhsharan Hans
Dr MusafiR BaithA
ग़ज़ल - ज़िंदगी इक फ़िल्म है -संदीप ठाकुर
ग़ज़ल - ज़िंदगी इक फ़िल्म है -संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
"परवाने"
Dr. Kishan tandon kranti
गाली भी बुरी नहीं,
गाली भी बुरी नहीं,
*प्रणय प्रभात*
*जब शिव और शक्ति की कृपा हो जाती है तो जीव आत्मा को मुक्ति म
*जब शिव और शक्ति की कृपा हो जाती है तो जीव आत्मा को मुक्ति म
Shashi kala vyas
100 से अधिक हिन्दी पत्र-पत्रिकाओं की पते:-
100 से अधिक हिन्दी पत्र-पत्रिकाओं की पते:-
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Phool gufran
नीम
नीम
Dr. Pradeep Kumar Sharma
मात -पिता पुत्र -पुत्री
मात -पिता पुत्र -पुत्री
DrLakshman Jha Parimal
यह ज़िंदगी
यह ज़िंदगी
Dr fauzia Naseem shad
गैरो को कोई अपने बना कर तो देख ले
गैरो को कोई अपने बना कर तो देख ले
कृष्णकांत गुर्जर
गमछा जरूरी हs, जब गर्द होला
गमछा जरूरी हs, जब गर्द होला
नंदलाल सिंह 'कांतिपति'
कोई हंस रहा है कोई रो रहा है 【निर्गुण भजन】
कोई हंस रहा है कोई रो रहा है 【निर्गुण भजन】
Khaimsingh Saini
The Saga Of That Unforgettable Pain
The Saga Of That Unforgettable Pain
Manisha Manjari
वासना है तुम्हारी नजर ही में तो मैं क्या क्या ढकूं,
वासना है तुम्हारी नजर ही में तो मैं क्या क्या ढकूं,
ऐ./सी.राकेश देवडे़ बिरसावादी
पल परिवर्तन
पल परिवर्तन
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
लड़की किसी को काबिल बना गई तो किसी को कालिख लगा गई।
लड़की किसी को काबिल बना गई तो किसी को कालिख लगा गई।
Rj Anand Prajapati
पति पत्नी पर हास्य व्यंग
पति पत्नी पर हास्य व्यंग
Ram Krishan Rastogi
Loading...