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7 Jan 2018 · 1 min read

मां ममता की मूरत है

मां ममता की मूरत है
सबकी एक जरूरत है।
अपने सुख की परवाह नहीं
बच्चों का शुभ मुहूर्त है।

कोख में पाला नौ महीने
दर्द सहा था नौ महीने।
बच्चे की गूंजेगी किलकारी
अहसास जगाया था नौ महीने।

असहनीय पीड़ा सही होगी
जब जन्म दिया तुमने मुझको।
ममता का आंचल मुझपे डाला
अपना दूध पिलाया मुझको।

खुद गीले में सोती थी
मुझको सूखे में सुलाया था।
मेरी एक चीख को सुनकर
कलेजा तेरा भर आया था।

तेरे अहसानों का बदला
कैसे बोल चुका पाउंगा।
तेरे जैसी स्नेह की सरिता
इस लोक नहीं और पाउंगा।

Language: Hindi
242 Views
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